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  • श्री रामचन्द्राय नम:पुण्यं पापहरं सदा शिवकरं विज्ञानभक्तिप्रदंमायामोहमलापहं सुविमलं प्रेमाम्बुपूरं शुभम्।श्रीमद्रामचरित्रमानसमिदं भक्त्यावगाहन्ति येते संसारपतङ्गघोरकिरणैर्दह्यन्ति नो मानवाः॥श्री रामगुण और श्री रामचरित्‌ की महिमा अब गोस्वामी जी आनंदकंद भगवान श्रीराम के चरित्र और उनके श्रेष्ठ गुणों का बखान करते हुए कहते हैं —-मोरि सुधारिहि सो सब भाँती। जासु कृपा नहिं कृपाँ अघाती॥राम सुस्वामि कुसेवकु मोसो। निज दिसि देखि दयानिधि पोसो॥वे श्री रामजी मेरी बिगड़ी सब तरह से सुधार लेंगे, जिनकी कृपा कृपा करने से […]
  • भगवान शंकर का श्रृंगार हो रहा हो, और उस पर हम यह कह दें, कि ‘बस अब श्रृंगार पूर्ण हुआ!’ तो निश्चित ही, ऐसा कहकर, हम प्रभु के दिव्य स्वरुप के साथ न्याय नहीं कर पा रहे हैं। कारण कि सृष्टि का कण-कण इस इच्छा से सरोबार है, कि हमें जब प्रभु ने इतने प्यार से निर्मित किया है, हमारा गहन प्रीति से श्रृंगार किया है, तो ऐसा कैसे हो […]
  • सोमवार का दिन भगवान शिव को समर्पित होता है। क्योंकि सोमवार का दिन भगवान शिव की पूजा के लिए सबसे शुभ माना जाता है। ऐसे में सोमवार के दिन लोग भगवान शिव के मंदिरों में जाकर उनके दर्शन करते हैं। इसलिए आज हम आपको एक ऐसे मंदिर के बारे में बताने जा रहे हैं, जहां पर भगवान शिव के दर्शन मात्र से ही व्यक्ति के भाग्य खुल जाते हैं। दरअसल, […]
  • मत्स्यपुराण में बताया गया है कि प्राचीन काल में अन्धकासुर के वध के समय भगवान शंकर के ललाट से पृथ्वी पर जो स्वेदबिन्दु गिरे, उनसे एक भयंकर आकृति वाला पुरुष प्रकट हुआ जो विकराल मुख फैलाये हुए था। उसने अन्धकगणों का रक्त पान किया, किंतु तब भी उसे तृप्ति नहीं हुई और वह भूख से व्याकुल होकर त्रिलोकी को भक्षण करने के लिए तैयार हो गया। बाद में शंकरजी तथा […]
  • श्री रामचन्द्राय नम:पुण्यं पापहरं सदा शिवकरं विज्ञानभक्तिप्रदंमायामोहमलापहं सुविमलं प्रेमाम्बुपूरं शुभम्।श्रीमद्रामचरित्रमानसमिदं भक्त्यावगाहन्ति येते संसारपतङ्गघोरकिरणैर्दह्यन्ति नो मानवाः॥राम नाम की महिमा श्रद्धेय श्री तुलसीदासजी कहते हैं—- हे मानव ! यदि तू अपने जीवन को प्रकाशमय बनाना चाहता है, तो रामनाम का सहारा ले। राम सुकंठ बिभीषन दोऊ। राखे सरन जान सबु कोऊ ॥नाम गरीब अनेक नेवाजे। लोक बेद बर बिरिद बिराजे॥श्री रामजी ने सुग्रीव और विभीषण दोनों को ही अपनी शरण में रखा, यह सब […]
  • हिमाचल प्रदेश एक ऐसा राज्य है, जहां पर अक्सर लोग घूमने-फिरने जाते हैं। लेकिन यहां पर ऐसे कई फेमस और प्राचीन मंदिर हैं, जिससे जुड़ी कई स्थानीय मान्यताएं और लोककथाएं मौजूद हैं। हिमाचल प्रदेश में एक हाटेश्वरी मंदिर है, जिसका इतिहास पांडवों से जुड़ा हुआ माना जाता है। जिसके साक्ष्य आज भी मंदिर में देखने को मिलते हैं। हालांकि इस मंदिर के बारे में काफी कम लोग जानते हैं। हिमाचल […]
  • हिंदू धर्म में सोमवार का दिन देवों के देव महादेव की पूजा-अर्चना की जाती है। इस दिन भगवान शिव और मां पार्वती की पूजा की जाती है। साथ ही महादेव की कृपा पाने के लिए सोमवार का व्रत रखा जाता है। सोमवार के व्रत की महिमा शिव पुराण में वर्णित है। सोमवार व्रत के पुण्य प्रभाव से व्यक्ति की हर मनोकामना पूरी होती है और जातक के सुख-सौभाग्य में भी […]
  • भगवान शंकर के पावन श्रृंगार की गाथा किसी विरले भाग्यशाली को ही प्राप्त होती है। गोस्वामी तुलसीदास जी कहते हैं, कि भोलेनाथ का श्रृंगार अब तक पूर्ण हुआ माना जा रहा था। बस एक सुंदर घोड़ी की विवस्था की जानी बाकी थी। क्योंकि संसार में सभी दूल्हे जब अपनी बारात लेकर निकलते हैं, तो घोड़ी पर ही सवार होकर निकलते हैं। किंतु दूर-दूर तक भी किसी ने घोड़ी की विवस्था […]
  • ‘अहिंसा परमो धर्मः’ का उद्घोष करने वाले भगवान महावीर का अहिंसा दर्शन आज के समय में अत्यंत प्रासंगिक और आवश्यक बन गया है। आधुनिक युग में जब मानव अपने स्वार्थ और लोभ के वशीभूत होकर किसी भी अनुचित कार्य को करने में संकोच नहीं करता, यहां तक कि अपने लाभ के लिए हिंसा तक को जायज ठहराने लगा है, तब महावीर स्वामी के सिद्धांत हमें नैतिकता, सहिष्णुता और करुणा की […]
  • प्रत्येक वर्ष हम भगवान महावीर की जन्म-जयन्ती मनाते हैं। महावीर जयन्ती मनाने का अर्थ है महावीर के उपदेशों को जीवन में धारण करने के लिये संकल्पित होना, महावीर बनने की तैयारी करते हुए देश एवं दुनिया में अहिंसा, शांति, करूणा, प्रेम, सह-जीवन को साकार करना। शांतिपपूर्ण, उन्नत एवं संतुलित समाज निर्माण के लिए जरूरी है महावीर के बताये मार्ग पर चलना। सफल एवं सार्थक जीवन के लिये महावीर-सी गुणात्मकता को […]
  • आज कामदा एकादशी व्रत है, कामदा एकादशी का व्रत करने वाले साधक के सभी पाप नष्ट होते हैं और उसकी हर कामना पूरी होती है और जीवन में सुख समृद्धि आती है तो आइए हम आपको कामदा एकादशी व्रत का महत्व एवं पूजा विधि के बारे में बताते हैं।जानें कामदा एकादशी व्रत के बारे मेंहिन्दू धर्म में हर महीने में 2 बार एकादशी का व्रत किया जाता है। यह तिथि […]
  • चैत्र माह की पूर्णिमा तिथि को हनुमान जी का अवतरण हुआ था। इसी वजह से हर साल चैत्र माह की पूर्णिमा तिथि को भगवान श्रीराम के परम भक्त हनुमान जी का जन्मोत्सव मनाया जाता है। इस बार 12 अप्रैल 2025 को हनुमान जन्मोत्सव मनाया जा रहा है। हनुमान जन्मोत्सव पर भक्त हनुमान जी के दर्शन के लिए मंदिर जाते हैं। भारत में हनुमान जी से जुड़े कई ऐसे मंदिर हैं, […]
  • श्री रामचन्द्राय नम:पुण्यं पापहरं सदा शिवकरं विज्ञानभक्तिप्रदंमायामोहमलापहं सुविमलं प्रेमाम्बुपूरं शुभम्।श्रीमद्रामचरित्रमानसमिदं भक्त्यावगाहन्ति येते संसारपतङ्गघोरकिरणैर्दह्यन्ति नो मानवाः॥राम नाम की महिमा श्रद्धेय श्री तुलसीदासजी कहते हैं—- हे मानव ! यदि तू अपने भीतर और बाहर दोनों ओर उजाला चाहता है, तो मुख रूपी द्वार पर रामनाम का दीपक जला ।  नाम जीहँ जपि जागहिं जोगी। बिरति बिरंचि प्रपंच बियोगी॥ब्रह्मसुखहि अनुभवहिं अनूपा। अकथ अनामय नाम न रूपा॥ ब्रह्मा के बनाए हुए इस प्रपंचमय जगत से छूटने के […]
  • उत्तर प्रदेश के मिर्जापुर राज्य में विंध्याचल जिला है। यह राज्य का एक फेमस शहर है। जहां पर बहुत से तीर्थयात्री आते हैं, क्योंकि विंध्याचल एक धार्मिक शहर है और यह शहर विंध्यवासिनी मंदिर के लिए फेमस है। मिर्जापुर के विंध्य पर्वत पर मां विंध्यवासिनी मंदिर है। यहां पर मां विंध्यवासिनी अपने पूर्ण रूप में विराजमान हैं। जबकि देश के अन्य शक्तिपीठों में मां सती के कुछ अंश विद्यमान हैं। […]
  • चैत्र नवरात्रि में 9 दिनों तक मां दुर्गा के नौ अलग-अलग स्वरूपों की पूजा की जाती है। इस बार 30 मार्च 2025 से चैत्र नवरात्रि की शुरूआत हुई है। जोकि 06 अप्रैल को समाप्त होंगे। इस दौरान देश के दुर्गा मंदिरों में अलग-अलग तरीकों से नवरात्रि का सेलिब्रेशन होता है। भारत में कई ऐसे फेमस मंदिर हैं, जहां पर नवरात्रि के पर्व को बेहद भव्य तरीके से मनाया जाता है। […]
  • गोस्वामी जी भगवान शंकर के सुंदर श्रृंगार का अत्यंत ही सुंदर वर्णन कर रहे हैं। जिसमें वे कह रहे है-‘कर त्रिसूल अरु डमरु बिराजा।चले बसहँ चढ़ि बाजिहं बाजा।।देखि सिवहि सुरत्रिय मुसुकाहीं।बर लायक दुलहिनि जग नाहीं।।’भगवान शंकर के एक हाथ में त्रिशूल व डमरु है। हालाँकि सनातन धर्म में अनेकों ही देवी देवता हैं, जिनके हाथों में, कोई न कोई शस्त्र अवश्य होता है। किंतु त्रिशूल लेने की परंपरा भगवान शंकर […]
  • नवरात्रि के पावन मौके पर मां दुर्गा के 9 अलग-अलग स्वरूपों की पूजा की जाती है। इस दौरान देशभर के मां दुर्गा के मंदिरों में श्रद्धालुओं की लंबी कतारें देखने को मिलती हैं। भक्त नवरात्रि पर मां दुर्गा के फेमस और सिद्ध शक्तिपीठों के दर्शन करने के लिए पहुंचते हैं। ऐसे में अगर आप मध्य प्रदेश के रहने वाले हैं, तो आप मध्य प्रदेश के कुछ फेमस मंदिरों में दर्शन […]
  • अग्निदेव महाराज दशरथ को खीर देकर अदृश्य हो गये। उसके बाद महाराज दशरथ ने अपनी रानियों को बुलाया और सबको यथायोग्य खीर का वितरण किया। अग्निदेव के द्वारा दिये गये प्रसाद के प्रभाव से कौशल्या, सुमित्रा और कैकेयी, तीनों रानियां गर्भवती हो गयीं। जिस दिन से भगवान कौशल्या के गर्भ में आये, उसी दिन से संपूर्ण लोकों की संपत्ति सिमट कर अयोध्या में आ गयी। चारों तरफ सुख और शांति […]
  • चैत्र नवरात्रि की 30 मार्च 2025 से शुरूआत हो रही है, वहीं इस पर्व का समापन 06 अप्रैल को होगा। नवरात्रि का पावन पर्व पूरे 9 दिनों तक चलता है, लेकिन इस साल यह महापर्व 8 दिन का है। नवरात्रि के मौके पर मां दुर्गा के 9 स्वरूपों की पूजा-अर्चना की जाती है। वहीं लोग मां दुर्गा का आशीर्वाद पाने के लिए व्रत करते हैं और मंदिर जाते हैं। भक्त […]
  • नवरात्रि हिंदू धर्म का महत्वपूर्ण पर्व माना जाता है। नवरात्रि में मां दुर्गा के 9 अलग-अलग स्वरूपों की पूजा-उपासना की जाती है। मां दुर्गा को शक्ति माना जाता है और शक्ति का अर्थ 'ऊर्जा' होता है। देवी दुर्गा अदृश्य ऊर्जा का मूल स्त्रोत हैं और इस सृष्टि को बनाए रखती हैं। इस शक्ति को नवदुर्गा के रूप में भी जाना जाता है। ऐसे में आज इस आर्टिकल के जरिए हम […]

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